मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल की है जरुरत, अबतक के जनप्रतिनिधि समेत केन्द्र व राज्य सरकारें भी स्थापित करने में रहे नाकाम, हेमन्त सरकार 2.0 पर है भरोसा

एनपीटी पाकुड़ ब्यूरो,
पाकुड़ (झा०खं०), झारखण्ड विधानसभा आम निर्वाचन- 2024 के नतीजे के पश्चात बहुमत के सरकार बने हेमन्त सरकार 2.0 पर झारखण्ड वासियों का हृदय की आशाओं में आकांक्षित है कि कहीं न कहीं हेमन्त सरकार 5 साल के दौरान राज्य की दिशा व दशा बदल कर रख देंगे। वही बीते रघुवर सरकार में कई उर्दू विद्यालय को निरस्त करते हुए जनरल विद्यालय में तब्दील कर दिया गया था जो हेमन्त सरकार के द्वारा पुनः चालू करने की आस अल्पसंख्यकों अन्य में जगजाहिर है। जिसके लिए पहल करने वाले इच्छा शक्ति की जरूरत है। वही राजमहल क्षेत्र की बात करे तो संथाल परगना प्रमण्डल में आता है और गठबंधन के तहत बीते कार्यकाल में राजमहल संसदीय क्षेत्र से 4 विधायक झामुमो के और एक कांग्रेस कोटे से रहा, जबकि राजमहल संसदीय क्षेत्र के बरहेट विधानसभा क्षेत्र से विधायक रहे हेमन्त सोरेन मुख्यमंत्री व पाकुड़ विधानसभा क्षेत्र से विधायक रहे आलामगीर आलम ग्रामीण विकास मंत्री, संसदीय कार्य मंत्री व पंचायती राज मंत्री की उपल्ब्धि हासिल कर चुके हैं। जबकि वर्तमान हेमन्त सरकार 2.0 में भी राजमहल संसदीय क्षेत्र के छः विधानसभा महागठबंधन के खाते में आया और पुनः बरहेट विधानसभा क्षेत्र से हैट्रिक लगाये विधायक हेमन्त सोरेन मुख्यमंत्री की कुर्सी संभाले हुए हैं। जबकि सांसद विजय हसदा भी राजमहल संसदीय क्षेत्र से ही हैट्रिक लगाने में कामयाब रहे हैं। मगर गौरतलब हो कि राजमहल संसदीय क्षेत्र से सांसद तो हैट्रिक लगाये हैं ही, बल्कि कई विधायक भी हैट्रिक लगा चुके हैं और फिर हेमन्त सरकार 2.0 में राजमहल संसदीय क्षेत्र के बरहेट विधानसभा क्षेत्र से हैट्रिक लगाये हेमन्त सोरेन मुख्यमंत्री भी हैं। जिससे राजमहल संसदीय क्षेत्र के पाकुड़, महेशपुर, लिट्टीपाड़ा, बरहेट, बोरियो समेत राजमहल विधानसभा क्षेत्र के आम-जनों में एक सकारात्मक अवयवों को दर्शाया है कि शायद वर्तमान हेमन्त सरकार 2.0 कहीं न कहीं आमजनों की सुविधार्थ में बेहतरीन स्वास्थ्य सेवा व्यवस्था उपलब्ध कराने की दिशा में मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल की स्थापना निश्चित रूप से कर सकते हैं, जिसकी चर्चा भी जगजाहिर है। आम-जनों से लेकर बुद्धिजीवियों में चर्चा का माहौल तो है ही, स्थानीय विधायकों ने भी अपने – अपने क्षेत्र में बेहतरीन स्वास्थ्य सेवा व्यवस्था उपलब्ध कराने में हर पहलूओं पर ध्यान केन्द्रित करता हुआ नजर आ रहा है। जबकि कलमकार भी अखबारों के पन्नों में सुर्खियां बटोरने की अवयवों को तलाश रही है कि शायद ऐसा उम्दा पंक्ति सियाही की नजाकत को दर्शाने का मौका पेश हो। मगर गौरतलब हो कि अबतक ऐसे कोई अवयव तत्काल परिभाषित करने की प्रयास हृदय की टपकते आंखों की आंसू सियाही की नजाकत को दर्शाने का प्रयास करने के बावजूद भी अबतक सपनों की तलाश में ही अग्रसारित है। बाहरेहल जो भी हो अबतक के सभी केन्द्रीय सरकारें समेत राज्य सरकारें भी राजमहल संसदीय क्षेत्र वासियों की सुविधार्थ में बेहतरीन स्वास्थ्य सेवा व्यवस्था कायम करने की दिशा में मेडिकल कॉलेज एंड अस्पताल स्थापित करने में नाकाम ही रहे। मगर हेमन्त सरकार 2.0 पर पाकुड़, महेशपुर, लिट्टीपाड़ा समेत अन्य विधानसभा क्षेत्र वासियों का हृदय की एहसास में आशा की किरणें उत्पन्न हो रही है कि शायद हेमन्त सरकार बेहतरीन स्वास्थ्य सेवा व्यवस्था उपलब्ध कराने की दिशा में सकारात्मक पहल करते हुए मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल स्थापित करने में अहम भूमिका अदा कर सकते हैं। जिससे इलाज के लिए क्षेत्र वासियों को अन्यत्र या फिर पश्चिम बंगाल या दक्षिणी राज्यों का मोहताज नहीं होना पड़ेगा। गौरतलब हो कि वर्तमान हेमन्त सरकार 2.0 महागठबंधन के तहत पूर्ण बहुमत हासिल प्राप्त सरकार है जो वादे के मुताबिक मुख्यमंत्री मंईयां सम्मान योजना की राशि एक हजार के बजाय ढाई हजार महिलाओं के सम्मानार्थ में उनके खाते में पहली कैबिनेट में ही निर्णय लेते हुए हस्तांतरित किया है। और वर्तमान हेमन्त सरकार 2.0 पर चुनावी वादे के मुताबिक उच्च शिक्षा व्यवस्था व बेहतरीन स्वास्थ्य सेवा व्यवस्था उपलब्ध कराने की अहम जिम्मेदारियां भी जगजाहिर है। अब देखना है कि किस हद तक हेमन्त सरकार धरातल पर बास्तविक स्वरूप चरितार्थ करने में कामयाब हो रहे हैं।